Internet में आपने बहुत सी वेबसाइट के domain के आगे http या https लगे जरुर देखा होगा | और ज्यादातर domain में तो आपने http:// देखा होगा | http और https ही ऐसे प्रोटोकॉल है जिनको domain के आगे लगाया जाता है | domain से यहाँ मतलब है किसी वेबसाइट से जैसे www.domainname.com यहाँ आप देख सकते है ये केवल domain है अब हम इसमें http व https जोड़ते है |
example of http and https –
- http://www.domainname.com
- https://www.domainname.com
यहाँ आप देख सकते है की ऊपर दिए हुए example में एक में http लगा है और एक में https | example – http://www.domainname.com एक non-secure वेबसाइट है | क्योकि इसमें जो प्रोटोकॉल उपयोग हुआ है | वो secure नहीं है | और example – https://www.domainname.com एक secure वेबसाइट है | क्योकि इसमें जो प्रोटोकॉल उपयोग हुआ है वो secure है | https का उपयोग ज्यादातर E-commerce वेबसाइटस में किया जाता है|
hyper text transfer protocol (http) किस वेबसाइट और domain में लगा है ये हम उसके domain के url को ब्राउज़र में Run करा कर देख सकते है | जब आप किसी domain को वेब ब्राउज़र में Run करते है तो वेब ब्राउज़र उसमें लगे प्रोटोकॉल को स्वतः ही उस domain के आगे लगा देता है |
http प्रोटोकॉल का उपयोग e-commerce वेबसाइट में नहीं करना चाहिए | क्योकि http secure नहीं होता जिस कारण इस में डाटा (login id, password, credit/debit card details, mobile number, etc..) चोरी होने का खतरा बना रहता है |
Cypher Text एक प्रकार का बहुत ही जटिल कोड होता है | जिसे पड़ना बहुत ही मुस्किल होता है | इसे Read करने के लिए Public Key के आवश्यकता होती है | https में SSL/TSL layer का उपयोग किया जाता है जिनके जरिये web client और web server आपस में पूर्ण सुरक्षा के साथ communication कर सके | इसे डाटा पूर्ण रूप से सुरक्षित होता है | क्योकि डाटा encrypted होता है |
https का उपयोग ज्यादातर e-commerce वेबसाइट में किया जाता है जिससे की user’s का डाटा (login id, password, credit/debit card details, mobile number, etc..) पूर्ण रूप से सुरक्षित रहता है |
http | https |
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http प्रोटोकॉल non-secure होता है | https प्रोटोकॉल secure होता है | |
http प्रोटोकॉल डाटा को Plain Text में ट्रान्सफर करता है | https प्रोटोकॉल डाटा को cypher Text में ट्रान्सफर करता है | |
http प्रोटोकॉल Public Key का उपयोग नहीं करता है | | https प्रोटोकॉल Public Key का उपयोग करता है | |
http प्रोटोकॉल से युक्त डाटा को चुराया जा सकता है | | https प्रोटोकॉल डाटा को चुराना बहुत ही ज्यादा कठिन है | |